पुलिस स्मृति दिवस पर जशपुर पुलिस लाइन में हुआ गरिमामय आयोजन

जशपुरनगर।जशपुर जिला मुख्यालय स्थित रक्षित केंद्र में पुलिस स्मृति दिवस के अवसर पर शहीद पुलिसकर्मियों को भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित की गई। इस मौके पर शहीदों के परिजनों सहित जिले के जनप्रतिनिधि वरिष्ठ अधिकारी और नागरिक बड़ी संख्या में उपस्थित रहे।

कार्यक्रम में विधायक श्रीमती रायमुनी भगत नगर पालिका अध्यक्ष अरविन्द भगत, पदमश्री जागेश्वर राम यादव कलेक्टर रोहित व्यास एसएसपी शशि मोहन सिंह एएसपी अनिल सोनी एसडीएम विष्वास राव मस्के एसडीओपी जशपुर चंद्रशेखर परमा, एसडीओपी कुनकुरी विनोद मंडावी डीएसपी श्रीमती मंजूलता बाज व डीएसपी श्रीमती आशा लकड़ा सहित अन्य अधिकारी मौजूद रहे।
56 शहीद परिवार रहे शामिल

इस अवसर पर जिले के कुल 56 शहीद परिवारों को आमंत्रित किया गया था। परेड में छत्तीसगढ़ सशस्त्र बल की दो टुकड़ियाँ शामिल हुईं, जिनका नेतृत्व रक्षित निरीक्षक अमरजीत खूंटे ने किया। मुख्य कमांडर के रूप में एपीसी अलिक जोर्ज मिंज और वीरेंद्र तिर्की रहे।
पुलिस जवानों ने शहीदों को सलामी दी। इसके बाद पूरे देश में 1 सितंबर 2024 से 31 अगस्त 2025 के बीच कर्तव्य-पालन के दौरान वीरगति प्राप्त 191 शहीद पुलिसकर्मियों के नाम पुकारे गए। उपस्थित अधिकारियों व परिजनों ने शहीद स्मारक पर पुष्प अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि दी।
क्यों मनाया जाता है पुलिस स्मृति दिवस

यह दिवस 21 अक्टूबर 1959 की उस घटना की याद में मनाया जाता है जब लद्दाख के हॉट स्प्रिंग्स क्षेत्र में सीमा सुरक्षा में तैनात भारतीय पुलिस की एक छोटी टुकड़ी पर चीनी सैनिकों ने हमला किया था। इस संघर्ष में 10 वीर पुलिसकर्मी मातृभूमि की रक्षा में शहीद हुए थे। उनके बलिदान को नमन करने के लिए ही हर वर्ष यह दिवस मनाया जाता है।
यह दिन हमें याद दिलाता है कि देश की आंतरिक सुरक्षा और शांति के लिए हमारे पुलिस जवान हर परिस्थिति में अपने कर्तव्यों का पालन करते हैं, चाहे हालात कितने भी कठिन क्यों न हों।
शहीद परिवारों से मुलाकात ,हर संभव मदद का आश्वासन
कार्यक्रम के बाद विधायक श्रीमती रायमुनी भगत और एसएसपी शशि मोहन सिंह ने शहीद परिवारों से भेंट कर उनका हालचाल जाना। उन्होंने कहा कि हमारे शहीद पुलिसकर्मियों ने देश की सुरक्षा के लिए अपना सर्वोच्च बलिदान दिया है। उनकी शहादत हमें सदैव हमारे कर्तव्यों और देशभक्ति की याद दिलाती रहेगी। हम उनके परिवारों के साथ हमेशा खड़े हैं और हर संभव सहयोग देने के लिए तत्पर हैं।
शहीद परिवारों को सम्मानित कर उन्हें भोजन कराया गया तथा ससम्मान उनके गंतव्य तक पहुंचाया गया। जिले के उन विद्यालयों और महाविद्यालयों में भी श्रद्धांजलि सभाएँ आयोजित की गईं, जहाँ कभी शहीद पुलिसकर्मियों ने अध्ययन किया था।
एकजुटता और सम्मान का प्रतीक बना दिवस

कार्यक्रम का समापन राष्ट्रगान के साथ हुआ। पूरा परिसर अमर रहे हमारे शहीद के नारों से गूंज उठा। जशपुर पुलिस का यह आयोजन न केवल शहीदों के प्रति सम्मान का प्रतीक बना, बल्कि शहीद परिवारों के प्रति पुलिस की संवेदनशीलता और एकजुटता का भी संदेश दे गया।

प्रधान संपादक




