बिलासपुर। चकरभाठा क्षेत्र में नवब्याहता की संदिग्ध परिस्थितियों में फांसी के फंदे पर लटकी लाश मिली। घटना के बाद मायके पक्ष ने पति और ससुराल वालों पर गंभीर आरोप लगाए हैं। शव को ससुराल पक्ष को देने से भी उन्होंने इन्कार कर दिया। अंतिम संस्कार के बाद मृतका के पिता और परिजन चकरभाठा थाने पहुंचे और बयान दर्ज कराते हुए बेटी को न्याय दिलाने की मांग की।

अकलतरा निवासी महबूब खान ने पुलिस को बताया कि उन्होंने अपनी बेटी अफरोज निशा की शादी चकरभाठा निवासी शाहिद कुरैशी से की थी। शादी के बाद से ही शाहिद और उसकी मां दहेज के लिए अफरोज को प्रताड़ित करते रहे। महबूब ने बताया कि लगातार प्रताड़ना की जानकारी मिलने पर उन्होंने अपने बेटों परवेज, जफर और जावेद के साथ किसी तरह एक लाख रुपये जुटाकर शाहिद के खाते में जमा कराए थे। इसके बाद भी उनकी बेटी की स्थिति में कोई सुधार नहीं हुआ। मृतका के चाचा ससुर ने पुलिस को बताया कि उन्होंने शाहिद और उसकी मां को समझाने की कोशिश की थी, लेकिन उल्टा उनसे भी विवाद हुआ। अफरोज की भाभी आफरीन ने भी बयान में कहा कि मृतका ने कई लोगों से मदद मांगी थी। परिवारजन उसे भरोसा दिला रहे थे, लेकिन इससे पहले ही उसकी फांसी पर लटकी लाश मिली। इधर, मायके वालों ने पुलिस के समक्ष यह भी आरोप लगाया कि घटना की जानकारी मिलने के बाद जब वे पहुंचे, तो शाहिद और उसके परिजनों ने अफरोज का मोबाइल खोलकर उसमें से वाइस रिकार्डिंग डिलीट कर दी। उनका कहना है कि मोबाइल में प्रताड़ना से जुड़े अहम सबूत थे। इसलिए उन्होंने मोबाइल की फोरेंसिक जांच कराए जाने की मांग की है, जिससे हकीकत सामने आ सके। पुलिस ने मामले में मर्ग कायम कर जांच शुरू कर दी है। मृतका के परिजनों का कहना है कि जब तक बेटी को न्याय नहीं मिलेगा, वे संघर्ष करते रहेंगे।

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