बिलासपुर। शहर में फर्जी पेमेंट ऐप के जरिए दुकानदारों से ठगी करने का नया मामला सामने आया है। युवक पेटीएम या फोन पे का स्कैनर स्कैन कर पेमेंट का फर्जी स्क्रीनशॉट दिखा रहा है और दुकानों से सामान ले जा रहा है। सरकंडा थाना क्षेत्र के मोपका, बहतराई रोड, खमतराई और व्यापार विहार क्षेत्र के कई व्यापारी इसकी चपेट में आ चुके हैं। संदेही की तस्वीर सीसीटीवी फुटेज से निकालकर पुलिस को सौंपी गई है, जिस पर जांच जारी है।

मोपका के व्यवसायी संतराम साहू ने बताया कि नौ जून की रात उनकी किराना दुकान पर युवक आया और 1639 रुपये का सामान खरीदा। उसने पेटीएम स्कैन कर फर्जी पेमेंट का स्क्रीनशॉट दिखाया। साउंड बॉक्स में अलर्ट नहीं आया, लेकिन उन्होंने सर्वर डाउन मानकर युवक को जाने दिया। जब खाते में भुगतान नहीं मिला तो उन्होंने ठगी की शिकायत सरकंडा थाने में की। इसी तरह खमतराई रोड स्थित मेडिकल स्टोर के केशव साहू और खमतराई चौक के चंद्रकांत साहू भी इसी तरह की ठगी का शिकार हुए। आरोपी पहले दवा खरीदता है और फिर फर्जी रसीद दिखाकर चला जाता है।
व्यवसायी महेश अग्रवाल ने बताया कि एक व्यक्ति व्यापारी बनकर मारवाड़ी भाषा में बातचीत करता है और किसी उद्योगपति के नौकर को सामान दिलवाने के नाम पर उधारी में सामान मंगवाता है। सामान लेने के बाद वह फोन बंद कर देता है। ऐसी घटनाएं व्यापार विहार समेत कई इलाकों में हुई हैं। अग्रवाल सभा ने पुलिस को बताया कि समाज के व्यापारियों को अनजान नंबर से कॉल कर किसी की मौत या बीमारी का हवाला देकर अंतिम संस्कार या इलाज के लिए रुपये मांगे जा रहे हैं। इसकी जानकारी होने परएएसपी अनुज गुप्ता ने कहा कि दुकानदारों को सतर्क रहने की जरूरत है। जब तक असली ट्रांजेक्शन रसीद न मिले, तब तक सामान न दें। स्क्रीनशॉट के आधार पर पहचान मुश्किल होती है, इसलिए ठगी से बचाव ही सबसे जरूरी उपाय है।

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