बिलासपुर। छत्तीसगढ़ के साथ ही देश के लिए यह गौरान्वित करने वाला क्षण है। छत्तीसगढ़ के खुफिया विभाग के एडीजी अमित कुमार को राष्ट्रपति पदक से नवाजा गया है। मंगलवार को नईदिल्ली में विशिष्ट सेवा के लिए राष्ट्रपति पुलिस पदक से सम्मानित किया गया है। 1998 बैच के आईपीएस अमित कुमार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से पदक से सम्मानित किया।





अमित कुमार मूलत: उत्तर प्रदेश के रहने वाले हैं। प्रतिभाशली अमित ने ए ही बार में आईपीएस क्रेक किया था। अमित सीबीआई के संयुक्त निदेशक नीति के पद पर काम कर चुके हैं। अमित कुमार को मध्य प्रदेश कैडर आवंटित किया गया था। छत्तीसगढ़ राज्य गठन के बाद उन्होंने छत्तीसगढ़ में अपनी सेवा देने का निर्णय लेते हुए छत्तीसगढ़ कैडर में आए। ट्रेनिंग पीरियड के दौरान राजधानी रायपुर में कार्य किया। उनकी पहली पोस्टिंग एसपी बीजापुर के पद पर हुई। 2004 में जांजगीर एसपी का पदभार ग्रहण किया। जांजगीर के बाद राजनांदगांव, रायपुर, दुर्ग जैसे जिलों में एसपी की कमान संभाली। इसी बीच प्रतिनियुक्ति पर दिल्ली चले गए। सीबीआई में 12 वर्षों तक विभिन्न पदों पर रहते हुए कई महत्वपूर्ण मामलों को सुलझाया।




बहुचर्चित चारा घोटाले की जांच की
पूर्व केंद्रीय मंत्री लालू यादव के चारा घोटाले की जांच करने के अलावा डायरेक्टर पीएमओ रिपोर्ट करने वाली ज्वाइन डायरेक्टर पॉलिसी के पद पर रहे। उत्तर प्रदेश के रहने वाले अमित कुमार छत्तीसगढ़ कैडर के 1998 बैच के आईपीएस है उनका जन्म 19 दिसंबर 1975 को हुआ था। प्राथमिक मोदी नगर से हुई थी। आईआईटी से 1993 से 1997 तक बीटेक की डिग्री हासिल की। इंजीनियरिंग करने के बाद यूपीएससी की प्रतिष्ठापूर्ण परीक्षा पहली बार में क्रेक कर इतिहास रचा।


बीजापुर के एसपी रहते हुए नक्सलियों पर पूरी तरह अंकुश लगाने का काम भी किया। उनके रहते नक्सली घटनाओं पर ना केवल अंकुश लगा वरन नक्सल गतिविधियां भी थम सी गई थी। केंद्रीय प्रतिनियुक्ति के दौरान सीबीआई की पद पर रहते हुए उन्होंने डीआईजी, आईजी व एडीजी के पद पर पदोन्नत हुए। अमित कुमार एक अनुभवी कुशल प्रशासक के रूप में जाने जाते हैं। केंद्रीय प्रतिनियुक्ति से वापस छत्तीसगढ़ लाैटने के बाद उनके कार्य को देखते हुए छत्तीसगढ़ के प्रमुख पद गुप्त वार्ता एडीजी की जिम्मेदारी राज्य सरकार ने सौंपी है।

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