*समपार फाटकों पर रोड अंडर ब्रिज/अंडरपास के निर्माण से मिलता है फाटकों पर ट्रैफिक जाम से छुटकारा ।*
*बारिश के दिनों में रोड अंडर ब्रिज/अंडरपास में जलभराव ना हो इसके लिए रेलवे द्वारा किए गए है सार्थक उपाय ।*
बिलासपुर – 02 जुलाई 2024
दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे में रेल के व्यापक नेटवर्क होने के कारण रेलवे और सड़क मार्ग जगह जगह एक दूसरे को क्रॉस करती है, जहाँ पर सड़क रेलवे लाइन को क्रॉस करती है, वहाँ पर सड़क यातायात के सुगम, संरक्षित और निर्बाध यातायात के लिए लेवल क्रॉसिंग गेट बनाए गए हैं । रेलवे लाइन पर ट्रेन चलने के समय लेवल क्रॉसिंग गेट को बंद कर दिया जाता है और ट्रेन को सुरक्षित पास करने के बाद रोड यातायात को खोल दिया जाता है ताकि सड़क मार्ग से जाने वाले पैदल यात्री तथा वाहन अपने गंतव्य तक सुरक्षित जा सके और ट्रेन परिचालन भी निर्बाध और संरक्षित रूप से होता रहे ।
समय के साथ दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे में रेलवे के आधारभूत संरचनाओं में आशातीत वृद्धि होने के कारण इन लेवल क्रॉसिंग गेट पर यातायात प्रभावित होता है । सड़क मार्ग से वाहनों का लगातार आवागमन के कारण लेवल क्रॉसिंग गेट से पहले सिग्नल पर ट्रेन रुक जाती है तो कभी ट्रेन के लगातार चलते रहने के कारण पर सड़क मार्ग के यात्री एवं वाहनों को लेवल क्रॉसिंग गेट से पहले इंतजार करना पड़ता है । खासकर व्यस्त राजमार्गों या शहर के मध्य मे स्थित लेवल क्रॉसिंग गेट पर यह समस्या गंभीर हो जाती है । विकसित होते शहरों, गावों, कस्बों आदि जहां की बसाबट लगातार बढ़ रही है, वहाँ समपार फाटक पर यातायात अवरुद्ध होने की संभावना रहती है ।
सड़क मार्ग के परिवहन की संरक्षा को बेहतर करने एवं असुविधा को कम करने के लिए व्यस्त समपारों की जगह इस समस्या के समाधान के लिए उपलब्ध संसाधनों और प्राथमिकता के आधार पर रेलवे के द्वारा रोड अंडर ब्रिज, अंडर पास एवं रोड ओवर ब्रिज आदि के निर्माण लगातार किए जा रहे है, जिनके निर्माण से मुख्य लाभों में यह है कि वे राजमार्गों और रेलवे पटरियों के बीच लेवल क्रॉसिंग की आवश्यकता को समाप्त करते हैं, जिससे ट्रेन तथा सड़क वाहन या पैदल यात्री संरक्षित रूप से यात्रा सम्पन्न करते हैं । चूंकि वाहन चालकों को लेवल क्रॉसिंग पर ट्रेनों के गुजरने का या ट्रेन को लेवल क्रॉसिंग गेट के बंद होने का इंतजार नहीं करना पड़ता है, इससे ट्रैफिक जाम की समस्या उत्पन्न नहीं होती है तथा इससे उनकी औसत गति में वृद्धि होती है । साथ ही यात्रा में कम समय लगता है व रेलवे ट्रैक के दोनों ओर के क्षेत्र आपस में जुड़ जाते हैं।
रेलवे फाटकों पर सड़क मार्ग के उपयोगकर्ताओं की सहूलियत एवं सुविधा के लिए बनाए गए रोड अंडर ब्रिज एवं अंडरपास के जहां बहुत सारे फायदे है वहीं बारिश के दिनों में कुछ रोड अंडर ब्रिज/अंडरपास आदि में जलभराव की स्थिति की जानकारी भी मिलती रही है । रेलवे द्वारा सज्ञान में आई जलभराव की समस्या से निबटने के लिए पुख्ता उपाय किए गए है, जिनमें प्रमुख रूप से बहुत सारी महत्वपूर्ण अंडर ब्रिज/अंडरपास में शेड का प्रावधान किए गए है, जिससे बारिश का पानी अंडर ब्रिज/अंडरपास के अंदर नहीं जाती है । दूसरा अंडर ब्रिज/अंडरपास में क्रॉस ड्रेन बनाए जा रहे है जो कि अंडर ब्रिज/अंडरपास के दोनों सिरों पर बारिश के दौरान ढलान के पानी को किनारे पर बनाए गए संपवेल से मिलाकर बाहर कर देते है । तीसरे उपाय के रूप में बहुत सारे अंडर ब्रिज/अंडरपास में जल के भराव को बाहर करने के लिए सेंसर युक्त पंप लगाए गए है, जो कि जलभराव होने पर ऑटोमैटिक चालू हो जाती है और पानी को बाहर करती है । इसके साथ ही अन्य अंडर ब्रिज/अंडरपास में मोटर को मन्युअल चालू कर जलभराव को रोका जाता है । समय के साथ इस समस्या से निपटने के लिए रेलवे लगातार इस दिशा में सार्थक प्रयास कर रही है ।
रेल प्रशासन रोड अंडर ब्रिज/अंडरपास के उपयोगकर्ताओं से आग्रह करती है कि बारिश के दिनों में यदि किसी रोड अंडर ब्रिज/अंडरपास में जलभराव खतरे के निशान पर हो उस दौरान रोड अंडर ब्रिज/अंडरपास को पार ना करें तथा निकटतम स्टेशन में सूचना देकर रेल प्रशासन का सहयोग करें ।