एक तरफ कुंभ के लिए 150 स्पेशल ट्रेन चलाने की तैयारी दूसरी ओर हमारी रेगुलर ट्रेन छीनी जा रही है
किस दिन कोहरा होगा जब मौसम विज्ञानी को नहीं पता तो रेलवे अधिकारियों को कैसे
रेलवे प्रशासन निर्णय तुरंत वापस ले अन्यथा आंदोलन प्रारंभ किया जाएगा
बिलासपुर 2 दिसंबर छात्र युवा नागरिक रेलवे जोन संघर्ष समिति ने रेलवे प्रशासन के दिसंबर जनवरी और फरवरी के महीने में 76 दिन तक सारनाथ एक्सप्रेस को रद्द करने के निर्णय की कड़ी आलोचना की है। समिति ने कहा कि महाकुंभ प्रयागराज में होने वाला है और ऐसे समय सारनाथ एक्सप्रेस को रद्द करना छत्तीसगढ़ राज्य के साथ घोर अन्याय है।
समिति ने कहा सारनाथ एक्सप्रेस में 22 डिब्बे लगते हैं इस आधार पर एक बार में काम से कम 1500 यात्री उत्तर भारत की ओर यात्रा करते हैं या वहां से वापस छत्तीसगढ़ आते हैं 76 दिन इस ट्रेन को रद्द करने का मतलब है लगभग तीन लाख लोगों को यात्रा के सबसे सुलभ और सरल यातायात साधन रेलवे से से वंचित करना। समिति ने सवाल उठाया की छत्तीसगढ़ में राज्य में भारतीय जनता पार्टी की सरकार बनाई है और केंद्र में भी 11 में से 10 सांसदों को चुनकर भेजा है क्या छत्तीसगढ़ राज्य को इसके बाद भी भेदभाव का सामना करना पड़ेगा?
छात्र युवा नागरिक रेलवे जोन संघर्ष समिति ने विस्तार से बताते हुए कहा कि एक तरफ तो महाकुंभ के लिए रेलवे 150 से अधिक स्पेशल ट्रेन चलाने की तैयारी में है वही छत्तीसगढ़ की छपरा से दुर्ग और दुर्ग से छपरा चलने वाली सारनाथ एक्सप्रेस को 3 महीने में 76 दिन तक के लिए रद्द कर दिया गया है। समिति ने कहा की रेलवे प्रशासन इसका कारण कोर होना बताता है यह तर्क अत्यंत हास्यास्पद है ठंड के तीन महीना में किस दिन कोहरा होने वाला है यह मौसम विज्ञानी भी एक सप्ताह के पहले नहीं बता सकते तो आज से किस-किस दिन कोहरा रहेगा या रेलवे प्रशासन को बताने के लिए क्या स्वयं भगवान उतरकर धरती पर आए हैं। समिति ने छत्तीसगढ़ और भारत में दोनों जगह भारतीय जनता पार्टी की सरकार होने और उनके द्वारा हिंदू धर्म को बढ़ावा दिए जाने के दाव पर कठोर टिप्पणी करते हुए कहा कि क्या छत्तीसगढ़ में हिंदू धर्म के लोग नहीं रहते जिन्हें प्रयागराज जाने का महाकुंभ में शामिल होने का अवसर रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव नहीं देना चाहते हैं।
छात्र युवा रेलवे जोन नागरिक संघर्ष समिति ने कहा की वास्तव में कड़ी ठंड के मौसम में भी सभी दिन कोर नहीं पड़ता कोहरे के दिन साल में अधिकतम 30 35 ही होते हैं परंतु इसके लिए ऐसे कभी भी ट्रेन रद्द नहीं की जाती अगर कोहरे के कारण ट्रेन रद्द करना सही निर्णय है तो उत्तर भारत में चलने वाली सभी ट्रेनों को इस तरह रद्द कर देना चाहिए।
छात्र युवा नागरिक रेल जोन संघर्ष समिति ने रेलवे प्रशासन से इस निर्णय को तुरंत वापस लेने की मांग की है अन्यथा इसके विरोध में आंदोलन प्रारंभ किया जाएगा ।
Author: Ravi Shukla
Editor in chief