बिलासपुर। ऑटो में रखे पर्स से जेवर और रुपये चोरी की शिकायत थाने में दर्ज कराना एक भाई-बहन को भारी पड़ गया। चोरी के आरोप में रंजिश पाले ऑटो चालक के बेटे ने दोनों पर चाकू से हमला कर दिया और जान से मारने की नीयत से घर में पेट्रोल छिड़ककर आग लगा दी। गनीमत रही कि समय रहते दोनों ने आंगन में भागकर अपनी जान बचा ली। मामले में द्वितीय अपर सत्र न्यायाधीश संतोष कुमार महोबिया की अदालत ने आरोपी विक्की उर्फ भूपेंद्र पांडेय को 10 साल कैद और अर्थदंड की सजा सुनाई है।

घटना 25 मई 2018 की है। सकरी निवासी बजरंग कुमार शर्मा अपनी बड़ी बहन लता तिवारी के साथ अपनी बीमार मां को इलाज के लिए सेंदरी अस्पताल लेकर गए थे। अस्पताल पहुंचने के बाद उन्होंने अपना पर्स और थैला वहीं के एक ऑटो चालक गोपाल पांडेय के ऑटो में रख दिया और अंदर चले गए। जब वे लौटे तो पर्स से जेवर और रुपये गायब थे। इस पर उन्होंने थाने में शिकायत दर्ज कराई।
इस शिकायत से नाराज होकर गोपाल का बेटा विक्की उर्फ भूपेंद्र पांडेय बजरंग और उसकी बहन से रंजिश रखने लगा। 28 मई को वह उनके घर पहुंचा और पानी मांगा। लता पानी देने बाहर आई तो वह गाली-गलौज करने लगा और जान से मारने की धमकी दी। शोर सुनकर बजरंग बाहर निकले तो विक्की ने चाकू से उन पर हमला करने की कोशिश की। जान बचाने के लिए भाई-बहन घर के अंदर भागे। इसके बाद विक्की ने घर का दरवाजा बाहर से बंद किया और पेट्रोल छिड़ककर आग लगा दी। आग में घर पूरी तरह जल गया, लेकिन लता और उसके परिजन आंगन में भागकर बाल-बाल बच गए।
पुलिस ने आरोपी के खिलाफ हत्या के प्रयास सहित कई धाराओं में अपराध दर्ज कर उसे गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया। सुनवाई के बाद अदालत ने आरोपी को धारा 307 के तहत 10 साल की कैद और 500 रुपये जुर्माना, धारा 506बी में तीन साल की सजा और 200 रुपये जुर्माना, आर्म्स एक्ट की धारा 25 व 27 के तहत तीन-तीन साल की सजा और कुल 400 रुपये अर्थदंड से दंडित किया है।
फिलहाल आरोपी विक्की एक अन्य मामले में जेल में बंद है। उसे कलेक्टर के आदेश पर पहले ही जिलाबदर किया गया था, लेकिन आदेश की अवहेलना कर वह दोबारा शहर लौट आया। इसी बीच वह नशीली दवाओं की तस्करी में भी शामिल हो गया। सिविल लाइन पुलिस ने उसे तालापारा क्षेत्र से साथी समेत गिरफ्तार कर जेल भेजा था।

Author: Ravi Shukla
Editor in chief